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Saturday, 25 December 2010

रात भर दिया धरना

रानीवाड़ा
जाखड़ी गांव में गत शनिवार को शिक्षक के साथ हुए मारपीट के मामले में कोई कार्यवाही नहीं होने और लापरवाही बरतने के आरोप में रानीवाड़ा थानाधिकारी को लाइन हाजिर करने की मांग को लेकर गुरुवार सवेरे से दिया गया कलबी समाज का धरना पूरी रात जारी रहा। समाज के लोग अपनी मांग को लेकर अड़े रहे। 

दूसरे दिन शुक्रवार को दिनभर चली वार्ता के बाद मामले के जांच अधिकारी बदलने और शीघ्र ही गिरफ्तारी करने के आश्वासन के बाद धरना समाप्त किया गया। इस बीच इस मामले में राजपूत समाज ने शुक्रवार को जिला मुख्यालय पर कलेक्ट्रेट के समक्ष विरोध प्रदर्शन किया और एसपी को ज्ञापन सौंपकर मामले में निर्दोष लोगों को फंसाने के आरोप लगाए और कुछ धाराएं हटाने की मांग की।

शिक्षक रमेश कुमार चौधरी पर हुए जानलेवा हमले के आरोपियों को गिरफ्तार करने और लापरवाही बरतने पर रानीवाड़ा थानाधिकारी को हटाने की मांग को लेकर कलबी समाज ने गुरुवार सवेरे ११ बजे से थाने के समक्ष धरना शुरू किया था। इस मामले में कोई आश्वासन नहीं मिलने पर समाज के लोग पूरी रात थाने के समक्ष धरने पर बैठे रहे। शुक्रवार सवेरे धरना स्थल पर समाज के और भी लोग पहुंच गए। दोपहर दो बजे धरना स्थल पर सांसद देवजी पटेल एवं पूर्व विधायक रतनाराम चौधरी पहुंचे। 

उन्होंने पुलिस कार्यवाही पर नाराजगी जताई और कहा कि पुलिस पूरे मामले में गंभीरता नहीं बरत रही है। दिनभर चले इस घटनाक्रम के बाद दो दिन से यहां मौजूद एएसपी यूएन छानवाल, डीएसपी रामदेवसिंह डूकिया भीनमाल एवं जयपालसिंह यादव सांचौर ने संासद सहित कलबी समाज के प्रतिनिधिमंडल को वार्ता के लिए आमंत्रित किया। बाद में सभी धरना स्थल पर पहुंचे। यहां धरने को संबोधित करते हुए सांसद ने कहा कि वार्ता के दौरान पुलिस प्रशासन ने उनकी मांगें मान ली हैं। उन्होंने कहा कि थानाधिकारी दिनेशकुमार को लाइन हाजिर कर दिया गया है तथा जांच अधिकारी के रूप में रामदेवसिंह एवं कैलाशदान चारण को नियुक्त किया गया है। आरोपियों को अतिशीघ्र गिरफ्तार कर दिया जाएगा। इस घोषणा के बाद कलबी समाज के लोगों ने धरने को स्थगित कर दिया। हालांकि बाद में पत्रकारों से बातचीत में एएसपी ने इस बात से इनकार किया कि थानाधिकारी को लाइन हाजिर किया गया है।

जालोर में किया प्रदर्शन

इधर, इस मामले में निर्दोष लोगों को फंसाने और बेवजह धाराएं जोडऩे के विरोध में राजपूत समाज ने जिला मुख्यालय पर विरोध प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा। दोपहर बाद समाज के कई लोग रानीवाड़ा से जालोर पहुंचे। इस दौरान जालोर से भी कई लोग एकत्रित हुए। बाद में इन सभी ने एक रैली निकाली और कलेक्ट्रेट के समक्ष विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान इन लोगों ने टायर भी जलाए। इसके बाद समाज के एक प्रतिनिधिमंडल ने एसपी राजेश मीणा को उनके कक्ष में ज्ञापन सौंपा। इसमें बताया गया कि रानीवाड़ा थाने मेंं दर्ज इस मामले में राजनीतिक दबाव के कारण निर्दोष लोगों को फंसाया जा रहा है। साथ ही बेवजह कुछ धाराएं जोड़ दी गई हैं। ज्ञापन में मामले की निष्पक्ष जांच और धारा ३०७ हटाने की मांग की गई। इस दौरान समाज के रघुनाथसिंह, भवानीसिंह, सुमेरसिंह, दातारसिंह, गंगासिंह, चंद्रवीरसिंह, बन्नेसिंह, राजपूत करणी सेनी के जिलाध्यक्ष श्रवणसिंह, महिपालसिंह और गोविंद सिंह, जितेंद्रसिंह, गजेंद्रसिंह, महेंद्रसिंह, कृष्णपालसिंह, धर्मवीरसिंह, विजेंद्रपालसिंह, जितेंद्रसिंह सोढ़ा, महेंद्रपालसिंह भाटी, जनकसिंह और प्रवीणसिंह देवड़ा समेत कई लोग मौजूद थे।

थानाधिकारी छुट्टी पर

रानीवाड़ा. एक ओर धरने को संबोधित करते हुए जहां सांसद देवजी पटेल ने कहा कि थानाधिकारी को लाइन हाजिर कर दिया गया है, वहीं दूसरी ओर धरना स्थगित होने के बाद हुई प्रेसवार्ता में एएसपी यूएल छानवाल ने कहा कि थानाधिकारी को लाइन हाजिर नहीं किया गया है, वे लंबी छुट्टी पर गए हैं। उन्होंने कहा कि मामले के जांच अधिकारी भी बदल दिए गए हैं। साथ ही उन्होंनें आश्वासन दिया कि अतिशीघ्र आरोपियों की गिरफ्तारी कर दी जाएगी। इस संबंध में फोन पर एसपी राजेश मीणा ने भी थानाधिकारी को लाइन हाजिर करने की बात से इनकार किया। उन्होंने कहा कि थानाधिकारी लंबी छुट्टी पर गए हैं। इधर, पुलिस अधिकारियों की ओर से इस तरह के बयान देने के बाद सांसद देवजी पटेल ने 'भास्करÓ को बताया कि पुलिस को वार्ता के दौरान यह नहीं कहना चाहिए था कि हम थानाधिकारी को लाइन हाजिर कर रहे हैं।

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